तर्ज -फूलों का तारों का सबका कहना है [हरे रामा हरे कृष्णा ]
पर्युषण पर्व का यही कहना है
निज आतम शुद्धि में सबको रहना है
सारी - उमर, दश धर्म करना है
१
जीव अकेला करता है ,चारों गति में वास
सुख दुःख भोगा करता,बुन के कर्मो के जाल
आ मेरे संग आ ,पूजन करना है
निज आतम शुद्धि से ध्यान में रहना है
सारी - उमर, दश धर्म करना है
२
सम्यक दर्शन ज्ञान चरित की ,महिमा है अपार
निज पर शासन करने से ,होता है उद्धार
आ मेरे संग आ ,पूजन करना है
निज आतम शुद्धि से ध्यान में रहना है
सारी - उमर, दश धर्म करना है
रचयिता -राजू बगड़ा
ता;-२९ अगस्त २०१४
१.१५ AM